हिमाचल दिवस: प्राकृतिक सौंदर्य, वीरता और संस्कृति का उत्सव
शिमला/धर्मशाला।
आज हिमाचल प्रदेश हिमाचल दिवस मना रहा है; एक ऐसा दिन जो ना केवल राज्य के गठन की याद दिलाता है, बल्कि उस समृद्ध विरासत, वीरता और प्राकृतिक सुंदरता को भी नमन करता है जो इसे ‘देवभूमि’ और ‘वीरभूमि’ बनाती है।
हिमाचल प्रदेश का गठन एवं राज्य का दर्जा प्राप्त करने की यात्रा:
1. 15 अप्रैल 1948 – छोटी-छोटी पहाड़ी रियासतों को मिलाकर “हिमाचल प्रदेश” का गठन किया गया।
2. 26 जनवरी 1950 – भारतीय संविधान के लागू होने पर हिमाचल को ‘सी श्रेणी’ का राज्य घोषित किया गया।
3. 1 नवंबर 1956 – राज्य पुनर्गठन अधिनियम के तहत इसे केंद्रशासित प्रदेश का दर्जा मिला।
4. 24 जनवरी 1971 – हिमाचल प्रदेश को पूर्ण राज्य का दर्जा दिया गया।
5. 25 जनवरी 1971 – भारत के 18 वें राज्य के रूप में आधिकारिक उद्घोषणा की गई।
‘प्राकृतिक सौंदर्य से परिपूर्ण, समृद्ध संस्कृति, देव भूमि, वीरभूमि—हमारा हिमाचल प्रदेश!’
इस भावपूर्ण संदेश के साथ प्रदेशवासियों ने आज सोशल मीडिया और विभिन्न आयोजनों में हिमाचल के प्रति अपना प्रेम और गर्व व्यक्त किया। स्कूलों, कॉलेजों और सरकारी कार्यालयों में विशेष कार्यक्रम आयोजित किए गए। पारंपरिक वेशभूषा में सांस्कृतिक प्रस्तुतियों ने हिमाचली विरासत को जीवंत कर दिया।
हिमालय की गोद में बसा यह राज्य आज भी अपने पर्यावरण संरक्षण, साहसिक पर्यटन, और सांस्कृतिक मूल्यों के लिए पूरे देश में मिसाल बना हुआ है।
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